शनिवार

उठो लाल

उठो लाल
 शीर्षक- उठो लालउठो लाल अब सुबह हो गई देखो कलियाँ भी खिल आईं,चिड़िया चहक उठीं डाली परतुमको गीत सुनाने आईं।पूरी रात नींद भर सोकरमन से तमस दूर कर डाला,बाल सूर्य ने आँखें खोलींपूरा विश्व लाल कर डाला।भीनी खुश्बू ले पुरवैयाद्वार तुम्हरे दस्तक देती,नवल प्रभात की ये ताजगीमन...